जमीन पर बैठकर भोजन करने से फायदे

जमीन पर बैठकर भोजन करने से फायदे कभी सोचा है कि प्राचीन काल में ऋषि-महर्षि जमीन पर बैठकर ही भोजन क्यों किया करते थे? वे ना तो असभ्य थे और ना ही निचले तबके के, फिर क्यों भोजन करने के लिए वे भूमि को ही चुनते. जब हम जमीन पर बैठ कर खाना खाते है तो या तो हम जमीन पर आलथी-पालथी मार कर बैठते हैं तो वह सुखासन अथवा अद्र्धपदमासन होता है। इस आसन में बैठने से मस्तिष्क शांत होता है तथा हमारा पाचन संस्थान सक्रिय होता है। माना जाता है कि इस मुद्रा में बैठने पर पेट दिमाग को भोजन पचाने के लिए आवश्यक पाचन रसों का स्त्राव करने का संकेत देता है जिससे भोजन शीघ्र ही पच जाएं. आज हम जमीन पर बैठकर खाने का तात्पर्य और उसके फायदे गिनाते हैं, जिनसे अभी तक पूरी तरह अनजान हैं. * स्वास्थ्य के लिए लाभप्रद. जमीन पर बैठकर खाना खाने का अर्थ सिर्फ भोजन करने से नहीं है, यह एक प्रकार का योगासन है. भारतीय परंपरानुसार हम जमीन पर बैठकर भोजन करते हैं तो उस तरीके को सुखासन या पद्मासन की तरह देखा जाता है। यह आसन हमारे स्वास्थ्य की बहुत लाभप्रद है. Bus Yoon Hee * रक्तचाप में कमी: इस त...